UPI Transaction: अगर आप UPI का रोजाना इस्तेमाल करते हैं, तो आपके लिए एक जरूरी अपडेट है। नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने 1 अप्रैल 2025 से लागू होने वाले नए नियम जारी किए हैं। इसके तहत बैंक उन मोबाइल नंबरों को नियमित रूप से हटाएंगे, जो बंद हो चुके हैं या किसी और को जारी कर दिए गए हैं। इस कदम का मकसद गलत ट्रांजेक्शन को रोकना और UPI ट्रांजैक्शन को ज्यादा सुरक्षित बनाना है।
क्यों लागू हो रहे हैं ये नए नियम?
NPCI की 16 जुलाई 2024 को हुई बैठक में यह तय किया गया कि बैंक और पेमेंट सर्विस प्रोवाइडर्स (PSP) को नियमित अंतराल पर अपने सिस्टम को अपडेट करना होगा। अब बैंक और UPI ऐप्स हर हफ्ते मोबाइल नंबरों की लिस्ट अपडेट करेंगे, ताकि गलत या असफल ट्रांजेक्शन को कम किया जा सके।
31 मार्च 2025 तक सभी बैंकों और UPI सर्विस प्रोवाइडर्स को इन गाइडलाइंस का पालन करना होगा। 1 अप्रैल 2025 से उन्हें NPCI को मंथली रिपोर्ट भी देनी होगी, जिसमें ये जानकारियां शामिल होंगी।
- कुल UPI आईडी, जो मोबाइल नंबरों से जुड़ी हैं।
- हर महीने एक्टिव UPI यूजर्स की संख्या।
- अपडेटेड मोबाइल नंबरों के जरिए किए गए ट्रांजेक्शन।
- लोकली हल किए गए UPI नंबर-बेस्ड ट्रांजैक्शन।
- नए नियमों का क्या असर होगा?
इस बदलाव से गलत नंबर पर पैसे भेजने की समस्या कम होगी और UPI ट्रांजैक्शन ज्यादा सुरक्षित और आसान हो जाएंगे। बैंक और UPI ऐप्स हर हफ्ते मोबाइल नंबर अपडेट करेंगे, जिससे गलत या असफल ट्रांजैक्शन का खतरा काफी हद तक कम हो जाएगा। अगर आप UPI का इस्तेमाल करते हैं, तो अपने बैंक और UPI ऐप्स से अपडेटेड जानकारी लेते रहें, ताकि आपको किसी परेशानी का सामना न करना पड़े।