जयपुर। राजस्थान की भजनलाल शर्मा सरकार ने विधानसभा के बजट सत्र में सोमवार को ‘राजस्थान विधि विरुद्ध धर्म-संपरिवर्तन प्रतिषेध विधेयक 2025’ पेश किया। इसमें लव जिहाद और जबरन या लालच देकर मतांतरण करवाने वालों के खिलाफ सख्त प्रविधान किए गए हैं। गृह विभाग से जुड़े मामलों को लेकर सरकार का पक्ष रखने के लिए अधिकृत चिकित्सा मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने विधेयक पेश किया। अब इसे बहस के बाद पारित किया जाएगा।
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वसुंधरा सरकार भी लाई थी बिल
इसके पहले वर्ष 2008 में भाजपा की वसुंधरा सरकार ऐसा ही विधेयक पेश कर चुकी है। हालांकि, यह कानून का रूप नहीं ले सका था। अब 16 साल बाद फिर यह विधेयक पेश किया गया है। इसे सदन से पारित कर भेजा गया, लेकिन राष्ट्रपति की मंजूरी नहीं मिल पाई।
नए विधेयक में मतांतरण कराने पर तीन से 10 वर्ष तक की सजा और 50 हजार रुपये तक जुर्माना का प्रविधान किया गया है। यदि कोई मर्जी से मतांतरण करता है, तो उसे 60 दिन पहले जिला कलेक्टर को सूचना देनी होगी।
शादी भी हो जाएगी निरस्त
इसी तरह लव जिहाद यानी कोई व्यक्ति धर्म परिवर्तन करवाने के लिए विवाह करता है, तो पारिवारिक न्यायालय ऐसे विवाह को निरस्त कर सकेगा। यह गैर जमानती संज्ञेय अपराध माना जाएगा। बिना शादी के साथ रहने वाले अलग-अलग धर्म के महिला व पुरुष को लेकर भी विधेयक में प्रविधान किया गया है। बता दें कि झारखंड, कर्नाटक और गुजरात में इस तरह के कानून पहले से बने हुए हैं। मध्य प्रदेश, उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश में भी इस तरह के विधेयक लाए जा चुके हैं।