114 करोड़ की लागत से खुलेंगी 18 सेंट्रल लाइब्रेरी: सुकमा-दंतेवाड़ा में प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी को मिलेगा बूस्ट

114 करोड़ की लागत से खुलेंगी 18 सेंट्रल लाइब्रेरी: सुकमा-दंतेवाड़ा में प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी को मिलेगा बूस्ट

रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य के युवाओं को बेहतर शैक्षिक और प्रतियोगी संसाधन उपलब्ध कराने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। नगरीय प्रशासन और विकास विभाग ने सुकमा, दंतेवाड़ा, सूरजपुर, बैकुंठपुर, चिरमिरी जैसे दूरस्थ अंचलों सहित कुल 17 नगरीय निकायों में 18 सेंट्रल लाइब्रेरी-सह-रीडिंग जोन के निर्माण के लिए 114 करोड़ 50 लाख 77 हजार रुपये की स्वीकृति दी है। इस पहल से न केवल शहरी क्षेत्रों बल्कि दूर-दराज के युवाओं को भी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी और उच्च शिक्षा के लिए गुणवत्तापूर्ण संसाधन और शांत अध्ययन माहौल उपलब्ध होगा।

सेंट्रल लाइब्रेरी-सह-रीडिंग जोन की विशेषताएं

इन लाइब्रेरी-सह-रीडिंग जोनों का निर्माण युवाओं के करियर निर्माण को ध्यान में रखकर किया जा रहा है। ये लाइब्रेरी निम्न सुविधाएं प्रदान करेंगी:

प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए उच्च गुणवत्ता वाली पुस्तकें और अध्ययन सामग्री।

शांत और प्रेरक रीडिंग जोन जहां युवा बिना किसी व्यवधान के पढ़ाई कर सकेंगे।

सभी वर्गों के लिए सुलभ और आधुनिक सुविधाएं, जो शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों के युवाओं को लाभान्वित करेंगी।

उप मुख्यमंत्री और नगरीय प्रशासन मंत्री अरुण साव के अनुमोदन के बाद विभाग ने मंत्रालय से इस राशि की मंजूरी के लिए परिपत्र जारी किया है। यह कदम छत्तीसगढ़ के युवाओं को शैक्षिक अवसरों से जोड़ने और उनकी प्रतिभा को निखारने की दिशा में महत्वपूर्ण है।

कितनी राशि स्वीकृत

राज्य शासन ने विभिन्न शहरों में 250-सीटर और 500-सीटर सेंट्रल लाइब्रेरी-सह-रीडिंग जोन के लिए निम्न राशि मंजूर की है:

13 नगरीय निकायों में 250-सीटर लाइब्रेरी के लिए कुल 57 करोड़ 39 लाख 37 हजार रुपये।

प्रत्येक लाइब्रेरी के लिए 4 करोड़ 41 लाख 49 हजार रुपये।

शामिल शहर: चिरमिरी, दंतेवाड़ा, सुकमा, अंबागढ़-चौकी, पेंड्रा, सूरजपुर, बैकुंठपुर, सारंगढ़, धमतरी, मुंगेली, खैरागढ़, सक्ती, बसना।

5 नगरीय निकायों में 500-सीटर लाइब्रेरी के लिए कुल 57 करोड़ 11 लाख 40 हजार रुपये।

गरियाबंद, दुर्ग, बिलासपुर में प्रत्येक के लिए 11 करोड़ 42 लाख 28 हजार रुपये।

रायपुर में दो 500-सीटर लाइब्रेरी के लिए कुल 22 करोड़ 84 लाख 56 हजार रुपये।

दूरस्थ अंचलों पर विशेष ध्यान

इस योजना में सुकमा, दंतेवाड़ा, सूरजपुर, बैकुंठपुर, चिरमिरी जैसे दूरस्थ और नक्सल प्रभावित क्षेत्रों को शामिल करना सरकार की समावेशी दृष्टि को दर्शाता है। इन क्षेत्रों के युवाओं को अब स्थानीय स्तर पर ही आधुनिक लाइब्रेरी और रीडिंग जोन की सुविधा मिलेगी, जिससे उन्हें प्रतियोगी परीक्षाओं जैसे UPSC, PSC, SSC और अन्य भर्ती परीक्षाओं की तैयारी में मदद मिलेगी। यह कदम इन क्षेत्रों में शिक्षा और रोजगार के अवसरों को बढ़ाने में भी सहायक होगा।

युवाओं के लिए लाभ

आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के युवा बिना किसी अतिरिक्त लागत के गुणवत्तापूर्ण संसाधनों का उपयोग कर सकेंगे।

प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए विशेष रूप से डिज़ाइन किए गए अध्ययन क्षेत्र उपलब्ध होंगे।

उच्च शिक्षा के लिए संदर्भ पुस्तकें और डिजिटल संसाधन भी उपलब्ध कराए जा सकते हैं।

ग्रामीण और नगरीय क्षेत्रों के बीच शैक्षिक असमानता को कम करने में मदद मिलेगी।


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